पहूज नदी में जलस्तर बढ़ने से भांडेर में आई बाढ़

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Bhander flooded due to rising water level in Pahuj river

नगर के घरों में पहुँचा पहूज नदी का पानी, नदी में फंसे 07 लोगों को किया गया रेस्क्यू।

दतिया। जिले में अतिवृष्टि के कारण नदियां उफान पर हैं। दतिया जिले के भाण्डेर में वारिस ने चारों ओर त्राहि-त्राहि मचा रखी है एक ओर करीब 40 घंटे से आसमान से पानी की बरसात जारी है तो वहीं दूसरी ओर बैराज बांध से पानी छोड़े जाने की वजह से उत्तर प्रदेश एवं मध्य प्रदेश की सीमा कायम करने वाली पहुज नदी अपने रौद्र रूप में आ गई है।

इसके चलते नदी का पानी एवं धारा भाण्डेर के वार्ड क्रमांक 14 एवं 15 वरकीसरांय एवं ठाकुर पुरा के घरों में पानी घुस चुका है। हालत यह है कि आधे आधे मकान पानी के डूब में आ चुके हैं जबकि मकान में रखा गेहूं चावल व अन्य धन सहित वहां एवं पशु भी पानी में तैरते हुए दिखाई दे रहे हैं।

हालांकि प्रशासन द्वारा लोगों से अपील की जा रही है कि वह अपने घरों से सुरक्षित तरीके से निकलकर उत्कृष्ट विद्यालय क्रमांक 1 में पहुंच कर सुरक्षित रहें।

वही भाण्डेर तहसील के ग्राम पंचायत बेरछ में अपने खेतों में काम कर रहे 18 किसान महिला पुरुष पहूज नदी में तेजी से पानी बढ़ने की बजह से बाढ़ में फंस गए जिन्हें एसडीईआरएफ (SDERF) तथा जिला प्रशासन की टीम की मदद से सुरक्षित तरीके से रेस्क्यू किया जा कर निकाला गया है।

नदी में जल वहाव की जानकारी लेने के लिए राजघाट नहर ई ई मोहित जैन से वात करने पर उन्होंने बताया कि बीती रात अंगूरी बैराज से 1500 क्यूबिक पानी छोड़ गया था जिसे अभी 75 पर कर दिया गया है परंतु पीछे के क्षेत्र में बरसात निरंतर हो रही है इसलिए रात को और पानी की मात्रा बढ़ाकर छोड़े जाने की बात कही है।

वर्तमान में भांडेर क्षेत्र का उत्तर प्रदेश के मौठ सहित कई ग्रामों से संपर्क कट गया है तो कई ग्रामों के रास्तों पर पूरी तरह से जल भराव हो गया है।

इसी के चलते पण्डोखर धाम और आस पास के क्षेत्र में अत्याधिक वर्षा होने के कारण आवागमन का मार्ग अवरुद्ध है ,वही पुष्पावती (पहुज) नदी में भी बाढ़ आई हुई है। अतः श्रद्धालु यात्री वर्षा शांत होने और आवागमन चालू होने के बाद ही पण्डोखर धाम आएं।

पण्डोखर धाम ट्रस्ट सचिव मुकेश कुमार गुप्ता (सागर) ने श्रद्धालुओं से अपील करते हुए कहा कि क्षेत्र में अत्याधिक वर्षा होने के कारण मुख्य मार्ग बंद है और पण्डोखर ग्राम का का एक हिस्सा जलमग्न है तथा विद्युत प्रदाय भी पूरी तरह से बंद है।

जो यात्री पण्डोखर धाम में हैं वह पूरी तरह सुरक्षित हैं अतः उनके घर परिवार वालों को चिंता करने की जरुरत नहीं है। मौसम साफ होने और आगमन के मार्ग खुलते ही सभी श्रद्धालु अपने गंतव्य को प्रस्थान कर पाएंगे।

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